
*मुख्यमंत्री निवास से प्रारंभ हुई विज्ञान मंथन यात्रा में शामिल हुईं श्रीमती श्रद्धा गुप्ता गंगराड़े,
नवाचारों पर हुई चर्चा, मुख्यमंत्री द्वारा मिला सम्मान,
इस यात्रा ने मुझे विज्ञान की नई दिशाओं से परिचित कराया, ,,श्रद्धा गुप्ता,,
खंडवा- विज्ञान एवं नवाचार के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य के लिए जिले से चयनित एकमात्र शिक्षिका के रूप में शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय रुस्तमपुर की उच्च माध्यमिक शिक्षिका श्रीमती श्रद्धा गंगराड़े ने विज्ञान मंथन यात्रा में सहभागिता की। समाजसेवी सुनील जैन ने बताया कि इस सात दिवसीय यात्रा का शुभारंभ विज्ञान भवन, भोपाल से मध्य प्रदेश काउंसिल ऑफ़ साइंस एंड टेक्नोलॉजी के तत्वाधान में हुआ, जहाँ प्रतिभागियों को मुख्यमंत्री निवास पर आमंत्रित किया गया। मुख्यमंत्री निवास में मध्यप्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री माननीय डॉ. मोहन यादव द्वारा प्रतिभागियों के साथ विज्ञान में हो रहे नवाचारों पर विस्तार से संवाद किया गया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने स्वयं रात्रिभोज में सहभागिता कर सभी प्रतिभागियों का उत्साहवर्धन किया, जो कि प्रदेश स्तर पर विज्ञान को लेकर हो रहे प्रयासों की गंभीरता को दर्शाता है। सुनील जैन ने बताया कि जिले के लिए हर्ष का विषय है 21 से 27 अप्रैल तक चली इस विज्ञान मंथन यात्रा के अंतर्गत श्रीमती गुप्ता ने देश की प्रमुख अंतरराष्ट्रीय ख्यातिप्राप्त शैक्षणिक एवं अनुसंधान संस्थाओं का भ्रमण किया, जिनमें आईआईटी दिल्ली, इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ साइंस ऑफ़ एजूकेशन एंड रिसर्च मोहाली, सेंट्रल साइंटिफिक इंस्ट्रूमेंट्स ऑर्गेनाइजेशन चंडीगढ़, नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ फार्मास्यूटिकल एजुकेशन एंड रिसर्च पंजाब, चिटकारा यूनिवर्सिटी आदि शामिल हैं। इन संस्थानों में उन्होंने उन्नत प्रयोगशालाओं, शोध परियोजनाओं और नवाचारों को नजदीक से देखा और जाना।इस यात्रा के अनुभवों को श्रीमती गुप्ता अब अपने विद्यार्थियों तक पहुंचाने का संकल्प लेकर लौटी हैं। वे विद्यार्थियों को न केवल उच्च शिक्षा संस्थानों की जानकारी देंगी, बल्कि उन्हें इन संस्थानों में प्रवेश हेतु आवश्यक प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी, दिशा एवं अवसरों से भी अवगत कराएंगी। उनकी इस उपलब्धि के लिए उन्हें जिला शिक्षा अधिकारी श्री पी.एस.सी. सोलंकी एवं डाइट प्राचार्य द्वारा सम्मानित किया गया। यह यात्रा न केवल एक शिक्षिका के रूप में उनके लिए गौरव का विषय रही, बल्कि जिले के लिए भी प्रेरणा का स्रोत बनी है।श्रीमती गुप्ता ने कहा, “इस यात्रा ने मुझे विज्ञान की नई दिशाओं से परिचित कराया है। मेरा प्रयास रहेगा कि मैं इन अनुभवों को अपने छात्रों तक पहुंचाकर उन्हें भी राष्ट्रीय मंच तक लाने के लिए प्रेरित कर सकूं।