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*भगवान के भजन बिना मनुष्य जीवन अधूरा है*-पं मोहित शास्त्री

*कथा में चतुर्थ दिवस मनाया कृष्ण जन्मोत्सव* *नन्द धर आनंद भयो जय कन्हैयालाल की के उदघोष से गुंजा पंडाल*

एडिटर/संपादक/तनीश गुप्ता,खण्डवा

*भगवान के भजन बिना मनुष्य जीवन अधूरा है*-पं मोहित शास्त्री

*कथा में चतुर्थ दिवस मनाया कृष्ण जन्मोत्सव*
*नन्द धर आनंद भयो जय कन्हैयालाल की के उदघोष से गुंजा पंडाल*
खण्डवा।जिस प्रकार नमक के बिना सब्जी अधूरी है उसी प्रकार मनुष्य जीवन भगवान के भजन बिना अधूरा है।परमात्मा का भजन करते हुए समय बिताना चाहिए।जिस प्रकार मृत्यु का कोई समय नही होता उसी प्रकार भगवान के भजन का भी कोई समय नहीं होता उपरोक्त उदगार श्रीमद्भागवत समिति द्वारा देवेन्द्र डाँड़गे, सरोज बाई व परिवार के सहयोग से स्व मिट्ठूलाल जी व स्व शांता बाई डाँड़गे की स्मृति में भवानी माता मंदिर प्रांगण में 6 अप्रैल से 3 बजे से 6 बजे तक प्रतिदिन आयोजित श्रीमद्भागवत कथा के चतुर्थ दिवस भगवताचार्य पं मोहित शास्त्री चामुंडिका धाम धनोरा ने व्यासपीठ से व्यक्त करते हुए कहे।समिति के मीडिया प्रभारी नारायण बाहेती व सुनील जैन ने बताया कि कथा में श्री कृष्ण जन्मोत्सव धूमधाम से मनाया गया।नंदघर आनंद भयो जय कन्हैया लाल की के उदघोष से पंडाल गूंज उठा।कृष्ण जन्मोत्सव में सजीव झांकी बनाई गई।जिसे पंडाल में उपस्थित जन समुदाय ने सराहा।महाराज श्री ने वामन अवतार की कथा कहते हुए बताया कि मनुष्य ने कभी अभिमान नही करना चाहिये। बड़े-बड़े योद्धा जैसे राजा बाली, रावण,इंद्र आदि का अभिमान नहीं चला तो हम तो साधारण प्राणी है, इसलिए सहज और सरल बनकर रहना चाहिए। कंस की कारागार में वासुदेव -देवकी के भादो मास की अष्टमी को रोहणी नक्षत्र में भगवान श्रीकृष्ण का जन्म हुआ था।श्रीकृष्ण का लालन पोषण नंदबाबा के घर मे हुआ था।इसलिए नंदगाँव में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव बहुत ही धूमधाम से मनाया जाता है। कृष्ण जन्म व भजनों पर श्रोता अपने आप को थिरकने से नही रोक पाए। देवेन्द्र डाँडगे,शांता बाई, बाबूलाल बिडारे,अजय बिढारे,मोहन लाल डाँडगे,नारायण बाहेती,सुरेन्द्र बिढारे,सुनील जैन ,ललित ढास्के,ज्ञानेश्वर डाँडगे ,रविन्द्र बिढारे आदि ने व्यासपीठ का पूजन कर महाराज श्री का आशीर्वाद लिया। माखन मिश्री व प्रसाद का प्रसाद वितरण किया गया।

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