अंगुलियों पर 55 करोड़ से लगेगी अमिट स्याही
इस बार लोकसभा चुनाव में इस्तेमाल होने वाली अमिट स्याही का खर्च पिछली बार की तुलना में 66 फीसदी बढ़ गया है । 2019 में आयोग ने स्याही की 26 लाख शीशियां खरीदी थीं , जिस पर 33 करोड़ रुपये का खर्च आया था । इस बार आयोग ने करीब 55 करोड़ रुपये से 26.55 लाख स्याही की शीशियां खरीदी हैं । स्याही पर खर्च के बढ़ने का प्रमुख कारण सिल्वर नाइट्रेट है , जो स्याही का प्रमुख घटक है । इसकी कीमतों में उतार- चढ़ाव के कारण खर्च में वृद्धि होती है । स्याही बनाने वाली देश की एकमात्र कंपनी मैसूर पेंट्स एंड वार्निश लि . ( एमपीवीएल ) के अनुसार चुनाव आयोग के आदेश पर 25 मार्च तक सभी राज्यों को उनके हिस्से की स्याही पहुंचा दी गई है ।