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महिसागर जिला के लूनावाड़ा गाँव में एक बड़ी मुहिम चलाई गई जिस में होने वाले बुरे काम फिजूल खर्चों को रोकने पर पाबंदी
लूनावाड़ा या सभी सुन्नी भाई और बहनो अल्लाह के फजलो करम से हम मुसलमान हैं और हमारी जिंदगी का अहम मकसद अल्लाह ताला और हमारे प्यारे हबीब के अटकामाअत है अमलाना है लेकिन देखा जाए तो आज हमारा समाज दिन-ब-दिन बहुत खराब हो गया है जा रही है अगर आज हम सब ने मिल कर इन फितानो और बर्बादियों को ना रोका तो हमारी दुनिया और आखिरी दोनों बर्बाद हो जाएंगी इसी वजह से दिनांक 18/10/2024 जुमुआ के दिन ईशा की नमाज बाद हुसैनी जामा मस्जिद में थी। एक बैठक जिस में माशा अन्ना लुनवाड़ा सुन्नी समाज कौम के अक्सर ओलमा ए कीरम, हुफ्फाज़े कीरम वा मुदारिसिन और लुनवाड़ा सुन्नी मुस्लिम पंच के सभी सदर नायब सदर और सचिव निज कौम के दीगर ज़िम्मेदारन हाज़िर रह अलहम्दुलिल्लाह इन ऑल ने मिलकार मशवारा (बैठक) की के सारी खराबियों को कैसे रोका जाए तो इस मुख्य सबने मिलकर ये कैसे लिया कि अब से लूनावाड़ा सुन्नी समाज के सभी भाइयों और बहनों को कुछ नियमों का पालन करना होगा और मुस्लिम होने के नाते हमें ना भी चाहिए।
• शादी, अकिका, खटाना, मंगानी या इस तरह सारी खुशियों के मौके पर अगर कोई (डीजे • बैंडबाजा, गरबा, आतिशबाजी फ़टाके फोड़ना, घरो में स्पीकर लगा कर गाने बजाना वगैरा नजैस वा हरम कामोन में मुलव्विस(शामिल) होगा उस के) इस लुनावाड़ा सुन्नी समुदाय में कोई भी आलिम, हाफिज, इमाम, मुदरदीस निकाह नहीं करेगा।
• सारे काम करने वालों के यहां अगर किसी की मौत होती है तो उनके यहां लुनावाड़ा सुन्नी समाज का कोई भी आलिम और हाफिज़ नमाज़ जनाज़ा भी नहीं पढ़ेगा
• जो बाराती बाहर हैं उन पर भी यह नियम लागू होगा और अगर कोई बारात किसी को बाहर लेकर जाती है तो उन पर भी यह नियम लागू होगा.
• यह नियम उन लोगों पर लागू होगा जो ईद मिलादुन्नबी या जुलूस, डीजे आदि आयोजन में शामिल होंगे।